देवघर: हिंदू धर्म को मानने वाले बहुत से लोग रुद्राक्ष की माला धारण करते हैं. खासकर महादेव के भक्तों में ऐसा प्रचलन ज्यादा है. ऐसी मान्यता भी है कि रुद्राक्ष में असीम ऊर्जा होती है. खासकर एक मुखी रुद्राक्ष की महिमा तो बहुत बड़ी है. दिल की बीमारी हो, मानसिक तनाव या फिर अकेलापन, इन समस्याओं का समाधान भी एकमुखी रुद्राक्ष में होता है.
वहीं, माना जाता है कि जब भी कोई बड़े रोग से आप परेशान हैं तो रुद्राक्ष की माला धारण करने से काफी राहत मिलती है. लेकिन, रुद्राक्ष की माला का लाभ आपको तब ही मिलेगा, जब इसको विधिपूर्वक धारण करें. धारण करने के बाद इसके नियमों का पालन करें. अन्यथा, ये सामान्य माला की तरह के आपके गले में सिर्फ टंगी रहेगी.
वैज्ञानिकों ने भी इसका महत्व
देवघर के प्रसिद्ध ज्योतिषाचार्य पंडित नंदकिशोर मुद्गल ने Local 18 को बताया कि रुद्राक्ष की माला धारण करने से सभी प्रकार के दोष समाप्त हो जाते हैं. भगवान शिव का आशीर्वाद इस माला के रूप में आपके साथ होता है. रुद्राक्ष ऊर्जा का भंडार है. हाइपरटेंशन या लगातार मानसिक तनाव या अकेलापन महसूस करते हैं तो तुरंत एक मुखी रुद्राक्ष की माला धारण कर लेनी चाहिए. एक मुखी रुद्राक्ष की माला जातक के शरीर में जादुई रूप से काम करती है. वैज्ञानिक भी रुद्राक्ष की ताकत को मान्यता देते हैं. एक मुखी रुद्राक्ष की माला पहन कर ‘ॐ नमः शिवाय’ का जाप हर रोज करना चाहिए.
एक मुखी रुद्राक्ष धारण करने के नियम
एक मुखी रुद्राक्ष धारण करने से पहले उसकी माला को शिवलिंग में स्पर्श कराकर अभिमंत्रीत करते हैं. जिस दिन शिववास होता है, उसी दिन रुद्राक्ष की माला धारण करनी चाहिए. साथ ही रोज ‘ॐ नमः शिवाय’ मंत्र का जाप करना चाहिए. स्नान करते वक्त रुद्राक्ष की माला बिल्कुल भी धारण न करें. रुद्राक्ष में स्पर्श पानी अगर जातक के पैर में लग जाए तो परिणाम विपरीत होते हैं. रुद्राक्ष की माला धारण करने के बाद तामसिक भोजन बिल्कुल न करें.
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FIRST PUBLISHED : June 12, 2024, 16:47 IST
Disclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी, राशि-धर्म और शास्त्रों के आधार पर ज्योतिषाचार्य और आचार्यों से बात करके लिखी गई है. किसी भी घटना-दुर्घटना या लाभ-हानि महज संयोग है. ज्योतिषाचार्यों की जानकारी सर्वहित में है. बताई गई किसी भी बात का Local-18 व्यक्तिगत समर्थन नहीं करता है.