बेंगलुरु. कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया की पत्नी बीएन पार्वती ने मैसूर शहरी विकास प्राधिकरण (MUDA) को पत्र लिखकर उन सारी जमीनों को वापस करने की पेशकश की है, जो उनके परिवार के खिलाफ भ्रष्टाचार के मामलों के केंद्र में हैं. एक बयान में, उन्होंने कहा कि वह अपनी अंतरात्मा की आवाज सुन रही हैं. उन्होंने कहा, “इन भूखंडों को वापस करने के साथ-साथ, मैं MUDA से संबंधित सभी आरोपों की व्यापक जांच की भी मांग करती हूं.”
इससे पहले सोमवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने मुख्यमंत्री के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का मामला दर्ज किया. MUDA को लिखे अपने पत्र में, पार्वती ने केसर गांव में 3.16 एकड़ भूमि के उपयोग के लिए मुआवजे के बदले विजयनगर चरण 3 और 4 में उन्हें आवंटित 14 भूखंडों को वापस करने की पेशकश की.
MUDA को लिखे पत्र में उन्होंने लिखा है, “मैं मैसूर शहरी विकास प्राधिकरण द्वारा मेरे पक्ष में दिए गए 14 जमीनी टुकड़ों के दस्तावेजों को रद्द करके इन भूखंडों को वापस करना चाहती हूं.” पत्र में लिखा है, “मैं भूखंडों का कब्ज़ा भी मैसूर शहरी विकास प्राधिकरण को वापस सौंप रही हूं. कृपया इस संबंध में जल्द से जल्द आवश्यक कदम उठाएं.”
उन्होंने अपने बयान में कहा, “कुछ लोग पूछ सकते हैं कि इस समय ऐसा निर्णय क्यों लिया गया? मैंने यह निर्णय उसी दिन ले लिया था जिस दिन आरोप लगे थे। हालांकि, चूंकि MUDA भूखंड बांटने के संबंध में आरोप राजनीति से प्रेरित थे, इसलिए कुछ शुभचिंतकों ने सलाह दी कि हमें इस अन्याय के खिलाफ लड़ना चाहिए और उनकी योजनाओं का शिकार नहीं बनना चाहिए. इसलिए मैंने शुरू में जमीन वापस करने से हाथ पीछे खींच लिए थे.”
उनके बयान में कहा गया है, “मैं सभी राजनीतिक दलों के नेताओं और मीडिया के सदस्यों से विनम्रतापूर्वक अपील करती हूं. कृपया राजनीतिक स्कोर तय करने के लिए राजनीतिक परिवारों की महिलाओं को विवाद में न घसीटें. उन्हें राजनीतिक विवादों में शामिल करके उनकी गरिमा और सम्मान को नुकसान न पहुंचाएं.” केंद्रीय एजेंसी का मामला एक विशेष अदालत के आदेश पर लोकायुक्त द्वारा दर्ज की गई एफआईआर के तुरंत बाद आया.
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FIRST PUBLISHED : September 30, 2024, 23:02 IST