नई दिल्ली. एग्जिट पोल के नतीजे से बीजेपी बमबम हो गई है. खासकर, झारखंड में बीजेपी के दोनों प्रभारी शिवराज सिंह चौहान और हिमंता बिस्व सरमा की मेहनत की खूब चर्चा हो रही है. अगर 23 नवंबर को बीजेपी झारखंड चुनाव जीतती है तो उसका क्रेडिट किसे मिलना चाहिए, इसको लेकर चर्चा शुरू हो जाएगी. मोदी कैबिनेट के कद्दावर मंत्री शिवराज सिंह चौहान और असम के सीएम हिमंता बिस्व सरमा दोनों ने खूब मेहनत की है. दोनों ने पार्टी की रणनीति को जमीन पर सही समय पर उतारा. चाहे वह चंपई सोरेन को पार्टी में शामिल कराना हो या फिर बागियों से नामांकन वापस कराना. लेकिन, जीत का क्रेडिट लेने से पहले ही दोनों में जबरदस्त जंग छिड़ गई है. दोनों नेताओं में ‘मामा’ के ताज को लेकर ये रेस शुरू हुई है.
बीजेपी में पहले से ही एक ‘मामा’ मौजूद हैं. ऐसे में ‘मामा’ कहलाने का शौक पालने वाले एक और दावेदार झारखंड विधानसभा चुनाव में सामने आ गए हैं. मामा का ताज बीजेपी में शिवराज सिंह चौहान के पास पहले से ही है. लेकिन, झारखंड चुनाव के बाद यह ताज शायद शिवराज सिंह चौहान के हाथों से निकल कर हिमंता बिस्व सरमा के हाथ में चला जाए.
मामा के ताज पर आमने-सामने बीजेपी के दो नेता
दरअसल, मध्यप्रदेश के पूर्व सीएम और मोदी कैबिनेट के कद्दावर मंत्री शिवराज सिंह चौहान को मध्यप्रदेश की जनता ने ‘मामा’ का ताज दे रखा है. शिवराज सिंह चौहान ने भी इसका सम्मान करते हुए अपने नए घर का नाम ‘मामा का घर’ रखा है. पिछले साल मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव में बीजेपी की जीत के बाद भी शिवराज सिंह चौहान की जगह मोहन यादव सीएम बना दिए गए. इस फैसले से उनके समर्थक महिलाएं और बच्चे बिलख-बिलख कर रो रही थीं. तब एक महिला ने कहा था, ‘भैया हमलोगों ने आपको वोट दिया था.’ इस पर शिवराज सिंह ने कहा कि मैं कहीं नहीं जा रहा हूं. मामा यही रहेगा. इसके बाद नए आवास के सामने चौहान ने एक बोर्ड लगा दिया, जिसमें लिखा था ‘मामा का घर’
शिवराज सिंह चौहान के पास अभी ‘मामा’ का ताज
लेकिन, शिवराज सिंह चौहान को मिले इस ताज पर अब खतरा मंडराने लगा है. असम के सीएम हिमंता बिस्व सरमा की नजर झारखंड चुनाव प्रचार के दौरान इस ताज लग गई. झारखंड में जिस तरह से हिमंता को जनता ने प्यार दिया, उससे कम से कम तो यही लग रहा है. सरमा ने जिस अंदाज में झारखंड विधानसभा का चुनाव प्रचार किया, उसकी हर तरफ चर्चा हो रही है.
झारखंड चुनाव के बाद हिमंता ने पेश की दावेदारी
दरअसल, झारखंड चुनाव में शिवराज सिंह चौहान और हिमंता दोनों चुनाव प्रभारी हैं. दोनों ने कई रैलियों और सभाओं में साथ-साथ भाषण दिया है. कहा जा रहा है कि झारखंड की इन सभाओं में शिवराज सिंह चौहान के साथ-साथ हिमंता बिस्व सरमा को भी बच्चे मामा-मामा बोल रहे थे. हिमंता भी मामा का तमगा हासिल करने के बाद बच्चों को हेलिकॉप्टर में खूब सैर कराया. सरमा का एक वीडियो पिछले दिनों काफी वायरल हुआ था, जिसमें वह कई सारे मुस्लिम बच्चों को अपने हेलिकॉप्टर में बैठाकर सैर करा रहे थे. इस वीडियो में हिमंता बच्चों से जिस अंदाज में बात कर रहे थे, उससे उनको मामा का तमगा मिलने में ज्यादा वक्त नहीं लगेगा. ऐसे में अगर बीजेपी झारखंड चुनाव जीतती है तो मामा-भांजा का रिश्ता आगे के लिए भी बना रहेगा. लेकिन, अगर बीजेपी चुनाव हारती है तो फिर मामा-भांजा का रिश्ता पांच साल फिर से दिखाई दे सकता है.
FIRST PUBLISHED : November 21, 2024, 17:56 IST