शिखा श्रेया/रांची.जेईई एडवांस्ड में अब 48 घंटे से भी कम का समय बचा हुआ है. ऐसे में स्टूडेंट हर संभव प्रयास कर रहे हैं कि अच्छा से अच्छा एक्जाम में परफॉर्म करें. झारखंड की राजधानी रांची स्थित राज ट्यूटोरियल कोचिंग सेंटर के संचालक व एजुकेशन एक्सपर्ट दिलीप रंजन ने Local 18 को बताया इस समय बच्चों का क्या स्ट्रेटजी होनी चाहिए. जिससे एग्जाम में उनको मदद मिल सके.
एजुकेशन एक्सपर्ट दिलीप रंजन ने कहा कि अब काफी कम समय बचा है. ऐसे में बच्चे बहुत ज्यादा स्ट्रेस ना लें. कोशिश करें जितना हो सके रिलैक्स करें. इस समय कोई नया चैप्टर न पढ़े. पिछले 2 सालों में जो भी पढ़ा है. यह रिजल्ट उसी बेसिस पर ही आएगा. इसीलिए इस समय स्ट्रेस लेने से कोई फायदा नहीं होगा.
फॉर्मूला को याद रखना जरूरी
दिलीप रंजन ने बताया कि इस समय कोशिश करिए अधिक न पढ़े, बस आंखें बंद करके कोई हार्ड या जरूरी फार्मूला है. खास करके केमिस्ट्री का तो उसे रिकॉल कीजिए. भूलकर भी कोशिश करें कुछ नया चीज ना पढ़े. क्योंकि, इससे जो आपने पहले पढ़ा हुआ है. वह भूलेंगे और बिना मतलब का स्ट्रेस बढ़ेगा. दिन में एक या दो घंटे रिवीजन में समय दीजिए.
हर दिन 2 घंटे करें रिवीजन करें
जेईई एडवांस्ड ब्रेन का खेल है. इसमें आपको दिमाग लगाना है. क्योंकि, पेपर में ऐसे क्वेश्चन होंगे जो आपने पहले कभी नहीं देखा होगा. आपको अपना दिमाग लगाना है. इसलिए इस समय दिमाग को जितना रेस्ट दिया जाए उतना अच्छा है. एग्जाम के समय बहुत ही फ्रेश मन के साथ क्वेश्चन को हल कर पाए.
स्ट्रेस न ले
दिलीप रंजन ने बताया कि सबसे जरूरी है कि स्ट्रेस नहीं लेना चाहिए है. क्योंकि, अगर आप थोड़ा भी टेंशन लेंगे तो जो आपने जो भी पढ़ा है. आप वह भी भूल जाएंगे. अच्छा करना तो छोड़िए आपके लिए क्वेश्चन सॉल्व करना भी मुश्किल हो जाएगा. इसीलिए फिलहाल कोशिश करें योगा कीजिए, मेडिटेशन करिए, पार्क में रिलैक्स कीजिए.जितना हो सके रिलैक्स होने की कोशिश करिए.
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FIRST PUBLISHED : May 23, 2024, 16:39 IST